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दिल्ली में 4189 शिक्षकों के पदभार ग्रहण से ठीक पहले नियुक्ति पर रोक लगाई

 

— शिक्षक सिविक सेंटर के बाहर धरने पर बैठें
— किसी को नहीं पता नियुक्ति पर क्यों लगी रोक
— 2016 से खाली है सरकारी स्कूलों में चार हजार शिक्षकों के पद

दिल्ली। कई सालों की मे​हनत और संघर्ष के बाद 4189 पढे लिखे बेरोजगारों का चयन ​सरकारी स्कूलों में शिक्षक के पद पर हुआ है। चयनित 4189 शिक्षकों को 15 अक्तुबर 2019 को विभिन्न् स्कूलों में पदभार ग्रहण करने का आदेश दिया गया। नौकरी पर पहला दिन और बेरोजगारी का ठप्पा हटने की चहरे पर खुशी लिए जब चयनित शिक्षकों यह पता चलता है कि केंद्रीय प्रशासनिक पंचाट के आदेश पर नियुक्ति पर रोक लग गई है। उन्हें समझ ही नहीं आ रहा कि अब वे कहां जाएं,इनमें कुछ ऐसे भी जिन्होंने सरकारी शिक्षक की नौकरी के लिए पहले वाली नौकरी छोडी दी है। परेशान 4189 शिक्षक दिल्ली के सिविक सेंटर के बाहर धरने पर बैठ गए। रात हो गई शिक्षक धरने पर डटे हुए है उनके पास अब कुछ बचा भी नहीं है। उन्हें अब तक किसी भी अधिकारी उनके सवाल का जबाव नहीं कि उनकी नियुक्ति पर क्यों रोक लगाई गई है।

दिल्ली में साल 2016 में सरकारी के स्कूलों में 4189 शिक्षकों के पदों को भरने के लिए भर्ती निकाली गई । लाखों बेरोजगारों ने आवेदन किया। साल 2017 में चयन परीक्षा का आयोजन किया गया। परीक्षा के दौरान पेपर ही लीक हो गया जिसकी वजह से परीक्षा निरस्त हो गई। साल 2018 में फिर से इन पदों पर भर्ती प्रकिया शुरू हुई। नौकरी की चाह में लाखों बेरोजगारों ने आवेदन किया। शिक्षक चयन परीक्षा चार चारणों में आयोजित की गई। फरवरी 2019 परीक्षा का परिणाम घोषित किया गया। अभी अक्तुबर में चयनित शिक्षकों को पदभार ग्रहण करने के आदेश जारी हुए। 15 अक्तुबर को पदभारण ग्रहण करने की तारीख बताई गई। चयनित शिक्षकों को लगा कि अब उनके सपने साकार होंगें पर फिर नजर लग गई। 15 अक्तुबर को हीकेंद्रीय प्रशासनिक पंचाट के आदेश पर नियुक्ति पर रोक लग गई। जिससे उनका पदभार ग्रहण करना भी टल गया। शिक्षक सिविक सेंटर पहुंचे जहां व​ह अधिकरियों से जानना चाहते थे कि उनकी नियुक्ति पर रोक क्यों लगाई गई है लेकिन किसी भी अधिकारी ने उनसे बात नहीं की। शिक्षक सिविक सेंटर के बाहर ही सडक पर धरने पर बैठ गए है। रात को भी शिक्षक धरने पर डटे हुए है।

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