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नक्सल मुक्त बस्तर जिले में नक्सलियों की अमद, सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच हुईं मुठभेड में 7 नक्सली मारे गए

 

छत्तीसगढ़। प्रदेश के बस्तर जिले को सरकार ने नक्सली मुक्त मान लिया था, इस तरह के कई दावे भी बीतें सालों में किए जाते रहे,लेकिन शनिवार को हूुईं मुडभेड ने सरकारी दावों की पोल खोल दी है। बस्तर में नस्क्ली मूवमेंट अब भी है और यहां नकस्ली अपनी जमीन मजबूत करने में लगे है। सरकारी दावे की पोल उस समय खुली जब तिरिया माचकोट के जंगलों में ओडिशा सीमा पर सुरक्षाबलों और नक्सलियों के बीच मुठभेड़ हुई। जिसमें सुरक्षाबलों ने तीन महिला सहित कुल सात नक्सलियों को मार दिया। मुठभेड में मारे नक्सलियों की पहचान नहीं हुईं है।

जानकारी के अनुसार बस्तर के तिरिया माचकोट के जंगलों में ओडिशा सीमा पर डीआरजी और एसटीएफ की टीमें सर्चिग कर रही थी तब उन पर फायरिंग की गई,जबाव में सुरक्षाबलों ने भी फायरिंग की। कुछ देर बाद दूसरी तरफ से फायरिंग बंद हो गई। जंगल के भीतरी इलाके में सुरक्षाबलों ने जाकर कर देखा तो मौके से तीन महिला सहित सात नक्सलियों की लाशें और कई तरह के हथियार वहां पडे थे। नक्सलियों के शवों को बरामद किए और ​हथियार जब कर लिए गए है। बताया जा रहा है कि मौके से 303 बोर की चार राइफल,इंसास राइफल, भरमार बंदूकें सहित अन्य हथियार मिले है।

गौरतलब है कि बस्तर को नक्सल मुक्त करने दावे अब झूठ सबित हो रहे है। इस इलाके में नक्सलियों की सक्रियता तेजी से बढ रही है। ऐसा कहा जा रहा है कि यहां कभी भी नक्सल की जमीन खत्म नहीं हुईं,कुछ हद तक कम हुई थी लेकिन नक्सलवाद ने बीते सालों में फिर से बस्तर में अपनी जमीन तैयार कर ली है।

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