मध्य प्रदेश

जनता को भी बताएं कि स्वास्थ्य सेवाओं में क्या हुए सुधार : मप्र स्वास्थ्य मंत्री

 

मध्यप्रदेश। लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ. प्रभुराम चौधरी ने कहा कि प्रदेश के उप स्वास्थ्य केन्द्र, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र, सिविल अस्पताल और जिला अस्पतालों में सरकार द्वारा नागरिकों के लिये अनेक सुविधाएँ उपलब्ध करवाई गई हैं। विभाग इन सुधारों को नागरिकों को महसूस भी करवाये। स्वास्थ्य मंत्री डॉ. चौधरी ने कहा कि एएनएम और आशा कार्यकर्ताओं के प्रशिक्षण पर विशेष जोर दिया जाये। यह प्रशिक्षण महज औपचारिक न रहे, परिणामदायक बनें। लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री डॉ. प्रभुराम चौधरी ने आज मंत्रालय में आत्मनिर्भर भारत संबंधी समीक्षा बैठक में उक्त बातें कही।
स्वास्थ्य मंत्री डॉ. चौधरी ने कहा कि आयुष्मान भारत निरामय कार्यक्रम के अंतर्गत सभी पात्र परिवार, आयुष्मान कार्ड बनाये जायें। इसकी जानकारी आम लोगों को भी दी जाये। उन्होंने कहा कि आयुष्मान कार्ड बनाये जाने की प्रक्रिया में तेजी आई है। स्वास्थ्य मंत्री डॉ. चौधरी ने कहा कि 12 हजार प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र और 10 हजार उप स्वास्थ्य केन्द्र को हेल्थ एण्ड वेलनेस सेंटर में बदलने की कार्यवाही को तेजी से किया जाये। मंत्री डॉ. चौधरी ने कहा कि हेल्थ और वेलनेस सेंटर बन जाने पर कई प्रकार की बीमारियों की दवाएँ और जाँचों की सुविधा स्वास्थ्य केन्द्रों पर उपलब्ध होगी। बैठक में बताया गया कि उप स्वास्थ्य केन्द्र में नियुक्त सीएचओ टेली-मेडीसिन के माध्यम से जिला अस्पताल के विशेषज्ञ डॉक्टर को मरीज के लक्षणों से अवगत करा कर उचित उपचार का मार्गदर्शन प्राप्त कर मरीज को उप केन्द्र स्तर पर जिले के विशेषज्ञ डॉक्टर से मिलने वाले इलाज की सुविधा उपलब्ध करवाई जा रही है। यह व्यवस्था बहुत कारगर है। उन्होंने कहा कि पिछले 2 माह में इस व्यवस्था के अंतर्गत उप स्वास्थ्य केन्द्र पर पदस्थ प्रशिक्षित नर्स, सीएचओ ने पूरे प्रदेश में 50 हजार से अधिक कॉल कर इतने ही मरीजों को विशेषज्ञ चिकित्सकों की सुविधा उपलब्ध कराई है।
स्वास्थ्य मंत्री डॉ. चौधरी ने कहा कि स्वास्थ्य विभाग के ग्रामीण क्षेत्रों के सभी प्रसव केन्द्रों पर आवश्यक व्यवस्थाएँ सुनिश्चित की जायें। उन्होंने कहा कि 1600 प्रसव केन्द्रों पर 52 करोड़ की लागत से किये जाने वाले कार्यों को जल्द पूरा किया जाये। बैठक में बताया गया कि सुरक्षित मातृत्व प्रसव पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है। बच्चों के टीकाकरण कार्यक्रम के संबंध में जीरो से 5 वर्ष आयु और जीरो से एक वर्ष आयु के सौ फीसदी बच्चों का टीकाकरण हो। स्वास्थ्य मंत्री डॉ. चौधरी ने कहा कि वेक्सीन के महत्व से आम लोगों को परिचित करायें। उन्होंने बताया कि कोविड-19 के वेक्सीन आने की हम प्रतीक्षा कर रहे हैं, ताकि इस बीमारी से मुक्ति मिले। जबकि जिन बीमारियों से मुक्ति दिलाने वाले वेक्सीन पहले से ही उपलब्ध हैं, उन्हें अपने बच्चों को नहीं लगवाना बड़ी भूल हो सकती है। विभागीय अमला नागरिकों को प्रेरित करें कि अपने बच्चों को कई प्रकार के गंभीर रोगों से बचाने के लिये उपलब्ध वेक्सीन का टीकाकरण समय पर करवायें।
बैठक में एसीएस लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण श्री मोहम्मद सुलेमान, आयुक्त स्वास्थ्य डॉ. संजय गोयल और एम.डी. एनएचएम सुश्री छवि भारद्वाज सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

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