मध्य प्रदेशमुख्य समाचार

महंगाई पर किसी को समझाने की जरूरत नहीं, यह हर थाली में नजर आती है : कमल नाथ

भोपाल। खंडवा संसदीय क्षेत्र सहित पृथ्वीपुर, जोबट और रैगांव विधानसभा क्षेत्र के उपचुनाव के लिए प्रचार अभियान की कमान संभाले पूर्व मुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कमल नाथ को भरोसा है कि जनता सच्चाई का साथ देगी। मतदाता झूठ-फरेब की राजनीति को पहचानता है। आज सबसे बड़ा मुद्दा महंगाई है और इसे किसी को समझाने की जरूरत नहीं है। जब भी व्यक्ति खाना खाने बैठता है तो उसकी थाली में महंगाई नजर आती है। लगभग हर सभा में वे कह रहे हैं कि मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और भाजपा के नेता हमसे 15 माह का हिसाब मांगते हैं, पर अपने 17 साल के कार्यकाल का जिक्र तक नहीं करते। कमल नाथ ने उपचुनाव से जुड़े तमाम मुद्दों पर ‘नवदुनिया” से विचार साझा किए।

कांग्रेस द्वारा महंगाई, अन्य पिछड़ा वर्ग को दिए आरक्षण सहित अन्य मुद्दों को ठीक ढंग से नहीं उठा पाने पर नाथ ने कहा कि महंगाई ऐसा मुद्दा है, जिसे किसी को समझाने या बताने की जरूरत नहीं है। आप थाली लेकर बैठते होंगे, तब अहसास करते होंगे कि पहले और अब में क्या अंतर है। क्या किसी को पेट्रोल-डीजल या रसोई गैस की मंहगाई बताने की जरूरत है? यह पुरानी बात थी, जब लोगों को समझाना पड़ता था। आज भाजपा इस विषय पर बात नहीं करती है। जबकि, पहले जरा सी कीमत बढ़ती थी तो बड़े-बड़े नेता जमीन पर बैठ जाते थे। आज चुनौती नौजवानों के भविष्य की है।

ये ही प्रदेश का निर्माण करेंगे। कैसे निवेश आए, इस पर चिंता करने की जरूरत है। निवेश भरोसे से आता है, जो लोगों में मध्य प्रदेश को लेकर नहीं है। मैंने इसकी शुरुआत की थी। यह भविष्य को सुरक्षित रखने के लिए सच्चाई का साथ देने का चुनाव है। कमल नाथ ने कहा कि अब भाजपा के पास सिर्फ दो चीजें बची हैं। एक- धनबल और दूसरा- प्रशासन का दबाव। झूठे प्रकरण दर्ज कर दो, काम मत करने दो, यही तो भाजपा के नेता कर रहे हैं। दमोह उपचुनाव में भी तो इन्होंने यही किया था। पूर्व मंत्री सुलोचना रावत, विधायक सचिन बिरला के कांग्रेस छोड़कर भाजपा में जाने पर कहा कि मैं सौदेबाजी की राजनीति नहीं करता। अगर सौदेबाजी कर लेता तो आज मैं मुख्यमंत्री होता।

ध्यान मोड़ने की राजनीति करती है भाजपा

कमल नाथ ने कहा कि भाजपा ध्यान मोड़ने और गुमराह करने की राजनीति करती है। मुख्यमंत्री जनता को 17 साल का हिसाब देने की जगह कहते हैं कि कमल नाथ डेढ़ साल का हिसाब दें। हमारा हिसाब तो जनता के सामने है। हमने कर्ज माफी की। बिजली बिल कम किए, कन्या विवाह और पेंशन की राशि बढ़ाई, पर हम इस बारे में ज्यादा नहीं कहते हैं। जनता ही हमारी गवाह और प्रमाण-पत्र है।

Related Articles

Back to top button